गुणों से भरपूर होता है दही

अगर आप सेहतमंद बने रहना चाहते हैं, तो जरूरी है कि आपका खानपान सही हो। आयुर्वेद में हेल्दी चीजों को अपनी डाइट में शामिल करना चाहिए। साथ ही खाना सही वक्त पर और सही मात्रा में खाना चाहिए। आयुर्वेद में बताया गया है कि अगर आप हेल्दी चीज को गलत समय पर और अधिक मात्रा में खाते हैं, तो इससे आपके स्वास्थ्य को नुकसान हो सकता है। क्योंकि शरीर की प्रकृति और मौसम के हिसाब से खानपान में बदलाव की सलाह दी जाती है।

दही गुणों से भरपूर होता है और इसमें प्रोबायोटिक्स पाया जाता है, जो गट हेल्थ के लिए फायदेमंद होता है। लेकिन दही का पूरा फायदा पाने के लिए आपको आयुर्वेदिक रूल्स के हिसाब से इसका सेवन करना चाहिए।

दही को दिन में लंच के साथ खाएं और वहीं रात के समय दही का सेवन अवॉइड करना चाहिए। बता दें कि दही में शहद, आंवला, घी, मिश्री और हरे चने का सूप मिलाकर इसका सेवन करने से इसके गुणों को बढ़ाया जा सकता है। दही कफ और पित्त को बढ़ा सकता है। अगर आप दही में काली मिर्च, काला नमक और जीरा पाउडर मिलाकर खाती हैं। तो कफ और पित्त बढ़ाने वाले गुण कम हो सकते हैं।

अगर आप दही में आंवला मिलाकर खाते हैं, तो इससे इम्यूटिनी बूस्ट होती है। साथ ही इससे डाइजेशन भी दुरुस्त होता है। इसका सेवन करने से वेट भी आसानी से लॉस होता है। दही में शहद मिलाकर खाने से डाइजेशन दुरुस्त रहता है। इसको गर्म नहीं करना चाहिए। क्योंकि दही और शहद दोनों में गुड बैक्टीरिया होते हैं, जो अपच, गैस और एसिडिटी में राहत दे सकते हैं।

दही का सेवन करने से इम्यूनिटी और हड्डियां मजबूत होती हैं और यह हार्ट हेल्थ के लिए भी फायदेमंद होता है। दही में प्रोबायोटिक्स पाया जाता है और जीरा में फाइबर होता है। इससे पाचन बेहतर होता है और यह पेट को आसानी से साफ करता है। जब पेट साफ होता है तो आपको खुलकर भूख भी लगती है।

दही में मिश्री मिलाकर खाने से पेट की जलन और स्ट्रेस कम होती है। दिन में 1 कप से अधिक दही का सेवन नहीं करना चाहिए। अगर आप दही का अधिक सेवन करते हैं, तो डाइजेस्टिव इश्यूज हो सकते हैं।

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