किसान दिल्ली कूच करेगें,महा पंचायत

दिल्ली। देशभर के किसान अपनी मांगों को लेकर गुरुवार को दिल्ली के रामलीला मैदान में जुटने वाले है। रामलीला मैदान में दिल्ली पुलिस ने बीते दिनों संयुक्त किसान मोर्चा को कई शर्तों के साथ रामलीला मैदान में किसान मजदूर महा पंचायत का आयोजन करने की अनुमति दी थी। इसके बाद 14 मार्च को संयुक्त किसान मोर्चा के नेतृत्व में किसान मजदूर महापंचायत का आयोजन किया जाना है।

महापंचायत को लेकर संयुक्त किसान मोर्चा का कहना है कि वह रामलीला मैदान में अपना आयोजन करेंगे और सरकार की नीतियों के खिलाफ लड़ाई को तेज करने के लिए प्रस्ताव पेश करेंगे। इसके साथ ही सरकार के खिलाफ आगे की रणनीति भी तय की जाएगी।

दिल्ली पुलिस ने किसानों को प्रदर्शन करने की अनुमति दी है लेकिन इसके साथ ही कई शर्तें भी लगाई गई है। किसान महापंचायत के लिए सिर्फ 5000 किसान ही रामलीला मैदान में जुट सकते हैं। किसानों को प्रदर्शन में हिस्सा लेने के लिए ट्रैक्टर लाने की अनुमति नहीं दी गई है। किस किसी तरह का मार्च भी नहीं निकाल सकते। किसानों को दोपहर ढाई बजे तक रामलीला मैदान में महापंचायत को खत्म करना होगा और रामलीला मैदान को तत्काल रूप से खाली करना होगा।

दिल्ली पुलिस ने किसान संगठनों को चेतावनी दी है कि अगर किसानों ने शर्तों का पालन नहीं किया तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। पुलिस का कहना है कि अगर किसान अपनी शर्तों का पालन नहीं करते हैं और दिल्ली में कानून व्यवस्था को तोड़ने का प्रयास करते हैं तो उनके खिलाफ कार्रवाई करने में दिल्ली पुलिस पीछे नहीं हटेगी। बताने की पिछली बार किसानों के मार्च के दौरान जमकर हिंसा की घटनाएं हुई थी।

“किसान मजदूर महापंचायत” में शामिल होने के लिए पंजाब भर से बड़ी संख्या में किसान 800 से अधिक बसों, ट्रकों और कई ट्रेनों में सवार होकर बुधवार को दिल्ली की ओर आने लगे है। संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम), जो 37 कृषि संघों का एक समूह है, जिसने 22 फरवरी को चंडीगढ़ में एक बैठक में ‘महापंचायत’ का आह्वान किया था। दिल्ली पुलिस और नगर निगम ने इस महापंचायत के लिए 11 मार्च को एनओसी जारी किया था। 

बीकेयू (एकता-दकौंदा) के धनेर गुट के प्रमुख मंजीत धनेर ने कहा कि पंजाब से 30,000 से अधिक किसानों के राष्ट्रीय राजधानी पहुंचने की उम्मीद है। बता दें कि किसान फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर कानून बनाने और सभी किसानों के लिए पूर्ण ऋण माफी सहित अन्य मांग कर रहे हैं। गौरतलब है कि “महापंचायत” ऐसे समय में आयोजित की जा रही है जब किसान मजदूर मोर्चा (केएमएम) और एसकेएम (गैर-राजनीतिक) के बैनर तले अन्य किसान संघ, एसकेएम से अलग हुए समूह, पंजाब के शंभू और खनौरी में धरना दे रहे हैं। 

Related Articles

Back to top button