आईएएस अधिकारी ‘कलेक्टर भाई’ को निलंबित किया गया

एन प्रशांत केरल के कन्नूर जिले के थालास्सेरी से हैं और उनका नाम आज भी ‘कलेक्टर भाई’ के रूप में पहचाना जाता है। उनका जीवन और कार्यक्षेत्र उनके समर्पण और अपने सामाजिक जुड़ाव के कारण चर्चा में रहा है। एन प्रशांत ने तिरुवनंतपुरम के लोयोला स्कूल और गवर्नमेंट लॉ कॉलेज से अपनी प्रारंभिक शिक्षा पूरी करने के बाद 2007 में आईएएस की परीक्षा पास की। इसके बाद उन्होंने विभिन्न महत्वपूर्ण भूमिकाओं में काम किया, और 2015 में उन्हें कोझिकोड जिला कलेक्टर के रूप में नियुक्त किया गया।

एन प्रशांत को उनके सक्रिय सोशल मीडिया जुड़ाव के कारण ‘कलेक्टर भाई’ के नाम से जाना गया। उनके कलेक्टर बनने के बाद, उन्होंने अपनी कार्यशैली में एक नए दृष्टिकोण को अपनाया, जो पारंपरिक सरकारी अधिकारियों से अलग था। प्रशांत सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स जैसे फेसबुक और इंस्टाग्राम के माध्यम से जनता से जुड़ने में सक्रिय थे, और उन्होंने विभिन्न सामाजिक पहलुओं को बढ़ावा दिया। उनका सोशल मीडिया पर सक्रिय रहना और लोगों के साथ संवाद करना उनकी एक विशेष पहचान बन गई थी।

एन प्रशांत का सोशल मीडिया जुड़ाव और सक्रियता उनके करियर में एक नया मोड़ लाया। हालांकि, यह जुड़ाव कभी-कभी विवादों का कारण भी बना। एक बार, एक वरिष्ठ अधिकारी की सार्वजनिक आलोचना के कारण उन्हें अनुशासनात्मक कार्रवाई का सामना करना पड़ा और निलंबित कर दिया गया। इस घटना ने मीडिया और जनता का ध्यान आकर्षित किया। इसके बावजूद, प्रशांत ने अपने काम के प्रति अपनी प्रतिबद्धता और सोशल मीडिया पर जनता के साथ संवाद करने के महत्व को बनाए रखा।

एन प्रशांत ने बताया कि सोशल मीडिया जनता से जुड़ने और प्रशासनिक कार्यों को प्रभावी ढंग से बढ़ावा देने का एक सशक्त मंच है। उनकी सोशल मीडिया गतिविधि ने उन्हें न केवल एक युवा और प्रगतिशील अधिकारी के रूप में स्थापित किया, बल्कि उन्होंने यह भी सिद्ध किया कि सोशल मीडिया एक पारदर्शिता और जनता से जुड़ने का प्रभावी उपकरण हो सकता है। उनके फेसबुक पर 3 लाख से अधिक फॉलोअर्स और इंस्टाग्राम पर 50,000 से अधिक फॉलोअर्स हैं, जो इस बात का प्रमाण है कि उनकी सोशल मीडिया उपस्थिति कितनी प्रभावशाली रही है।

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