Garuda Purana: कर्म के अनुसार इस रूप में मिलता है अगला जन्म, जानिए क्या कहता है गरुण पुराण

Garuda Purana गरुड़ पुराण भगवान विष्णु की भक्ति और उनके ज्ञान पर आधारित है। इस पुराण में ऐसी कई बातें बताई गई हैं जिन्हें अपनाने से व्यक्ति अपने जीवन की स्थिति सुधार सकता है। गरुण पुराण में यह भी बताया गया है कि व्यक्ति के किन कर्मों से उसे अगले जन्म में कौन-से रूप में जन्म लेना पड़ता है। आइए जानते हैं गरुण पुराण की ये बातें।

नई दिल्ली, अध्यात्म डेस्क। Garuda Purana: गरुण पुराण सनातन धर्म का एक ग्रंथ है, जिसमें मुख्य तौर पर मृत्यु और मृत्यु के बाद होने वाली घटनाओं के बारे में बताया गया है। गरुण पुराण में यह बताया गया है कि किस तरह के कर्म करने से व्यक्ति को नर्क का सामना करना पड़ता है। गरुण पुराण में अलग-अलग कर्मों के लिए भिन्न-भिन्न दंड निर्धारित किए गए हैं। साथ ही यह भी बताया गया है कि व्यक्ति को अपने कर्मों के आधार पर स्वर्ग या नरक भोगने के बाद अगला जन्म मिलता है।

इन लोगों को बकरे के रूप में मिलता है जन्म

धोखेबाज और अपने हित के लिए दूसरों के साथ छल-कपट करने वालों को अगला जन्म उल्लू के रूप में मिलता है। वहीं, पशु-पक्षियों को परेशान करने वाले व्यक्ति को अगला जन्म बकरे के रूप में मिलता है जो कसाई के हाथों हलाल किया जाता है।

इस कर्मों को माना गया है महापाप

गरुण पुराण के अनुसार, गौ हत्या, भ्रूण हत्या, महिलाओं की हत्या करना महापाप माना गया है। ऐसा करने वालों को अगले जन्म में चांडाल योनि प्राप्त होती है। वहीं गुरु का अपमान करने वाला व्यक्ति अगले जन्म में नरभक्षी के रूप में पैदा होता हैं। जिसे जन्म से मृत्यु तक कई तरह के कष्ट झेलने पड़ते हैं।

इस रूप में मिलता है अगला जन्म

जो व्यक्ति धर्म, वेद, पुराण जैसे धार्मिक ग्रंथों का अपमान करता है या ईश्वर में श्रद्धा नहीं रखता। उसे भी दंड का भागी माना गया है। ऐसे लोगों को अगले जन्म में कुत्ते के रूप में जन्म मिलता है। वहीं गरुड़ पुराण के अनुसार, जो व्यक्ति मित्र के साथ छल करता है उसका अगला जन्म गिद्ध के रूप में होता है।

Related Articles

Back to top button