
नोएडा। एक केंद्रीय मंत्री से पहचान बताकर नीट का एग्जाम क्लियर कराने के नाम पर 10 लाख रुपये की धोखाधड़ी का मामला सामने आया है। इस संबंध में कोर्ट के आदेश के बाद ममूरा के रहने वाले प्रदीप कुमर उपाध्याय की शिकायत पर फेज-3 थाने में शिकायत की गई है। पुलिस के अनुसार, सतीशचंद शर्मा, रितिक शर्मा और खुद को डॉक्टर बताने वाले राजकुमार शर्मा के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
पीड़ित के अनुसार, 2024 में उनकी मुलाकात एक परिचित के माध्यम से सतीश से हुई थी। सतीश ने बातों-बातों में उनके बेटे के बारे में पूछा। उन्होंने नीट की तैयारी करने की बात कही तो उसने कहा कि वह एक केंद्रीय मंत्री को अच्छे से जानता है। उनके जरिये वह बेटे का एग्जाम क्लियर करा किसी अच्छे सरकारी कॉलेज में एडमिशन करवा देगा। वह उसकी बातों में आ गए।
पीड़ित के अनुसार, इस बारे में बात होने के बाद सतीश अपने बेटे के साथ उन्हें लाल बत्ती वाली कार में हरिद्वार लेकर गया। वहां राजकुमार से उनकी मुलाकात कराई। राजकुमार ने खुद को डॉक्टर बताने के साथ दिल्ली में पीएमओ तक पहुंच की बात कही। बताया कि एग्जाम क्लियर कराने में 20 लाख रुपये खर्च होंगे। उन्होंने 10 लाख रुपये उन्हें दे भी दिए।
10 लाख एग्जाम क्लियर होने के बाद देने थे, लेकिन बेटा नीट में फेल हो गया। जब उन्होंने इस बारे में बात की तो कहा गया कि मंत्री कहीं व्यस्त हैं। उनसे मुलाकात के बाद उनके बेटे का रिजल्ट दोबारा आएगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। बाद में उन्होंने रुपये मांगे तो धमकी दी गई। कहा गया कि दोबारा रुपये मांगे तो हत्या कर शव नहर में डाल दिया जाएगा, जिससे वह डर गए। पीड़ित ने पुलिस से शिकायत की, लेकिन सुनवाई नहीं होने पर कोर्ट पहुंचे।