सीएम बिस्वा की घुसपैठ पर लगाम के लिए नई पहल 

नई दिल्‍ली। असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने घुसपैठ पर लगाम के लिए एक नई पहल की है। मुख्यमंत्री ने बताया कि सरकार वयस्कों के लिए आधार कार्ड जारी करने के नियमों को सख्त बनाने पर विचार कर रही है। आधार कार्ड जारी करने के सख्त नियमों से अवैध विदेशियों का पता लगाने और उन्हें देश से बाहर निकालने में राज्य सरकार के प्रयासों को और बढ़ावा मिलेगा। सरमा ने की एक बैठक की अध्यक्षता करने के बाद संवाददाता सम्मेलन में कहाकि आज हमने एक प्रस्ताव पर चर्चा की, जिसके तहत वयस्कों के लिए आधार कार्ड पूरी तरह से सत्यापन के बाद ही जारी किए जाएंगे। कैबिनेट जल्द ही इस संबंध में निर्णय लेगी।

हिमंता बिस्वा सरमा ने कहाकि असम में करीब 100 प्रतिशत वयस्कों के पास आधार कार्ड हैं। उन्होंने कहाकि अगर कोई वयस्क आधार कार्ड के लिए आवेदन करता है, तो हम व्यापक जांच करेंगे। नए नियमों के प्रभावी होने के बाद से केवल जिला आयुक्त के पास आधार कार्ड जारी करने का अधिकार होगा। मुख्यमंत्री ने कहाकि इससे यह सुनिश्चित होगा कि कोई अवैध घुसपैठिया आधार कार्ड न हासिल करे और हम उसका आसानी से पता लगा सकते हैं तथा उसे उसके देश भेज सकते हैं। उन्होंने बताया कि जिन योग्य वयस्क नागरिकों का आधार कार्ड नहीं बन पाया है, उन्हें आवेदन करने का मौका मिलेगा। डिप्टी कमिश्नर को इसके लिए अधिकृत किया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि बाद में जन्म प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया को भी इसी प्रकार सख्त किया जाएगा। ऐसे मामलों में जिलाधिकारी को प्रमाणपत्र जारी करने वाला प्राधिकारी नियुक्त किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हालांकि आधार कार्ड नागरिकता का दस्तावेज नहीं है, लेकिन आधिकारिक तौर पर इसका इस्तेमाल बड़े पैमाने पर होता है, जिसमें मतदाता सूची में नाम दर्ज कराना, बैंक में खाता खोलना, गैस कनेक्शन प्राप्त करना आदि शामिल है। उन्होंने कहाकि अगर हम आधार कार्ड को ब्लॉक कर सकते हैं, तो हम अन्य दस्तावेज जारी करने पर भी रोक लगा सकते हैं। हमें विदेशियों के यहां वैध रूप से लंबे समय तक रहने और आधार कार्ड बनवाने से कोई समस्या नहीं है। हमारी समस्या अवैध विदेशियों से है।

मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि नियमों को कड़ा करने से निर्वासन प्रयासों में मदद मिलेगी। उन्होंने कहाकि घुसपैठियों का पता लगाने और उन्हें वापस भेजने के हमारे निरंतर प्रयासों के तहत कल रात हमने 20 और बांग्लादेशियों को निर्वासित किया। आधार जारी करने के नियमों को सख्त करने का निर्णय इस दिशा में हमारे प्रयासों में सहायता ही करेगा। मंत्रिमंडल ने मोरान और मटक समुदायों की स्वायत्त परिषदों के नियमों में बदलाव को मंज़ूरी दी है, इसस अब केवल इन समुदायों के लोग ही परिषद के चुनावों में मतदान कर सकेंगे।

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