
नई दिल्ली। सिगरेट से होटल तक के कारोबार से जुड़ी आईटीसी लिमिटेड का फ्यूचर प्लान बेहद जबरदस्त है। दरअसल, यह समूह अलग-अलग क्षेत्रों में अपनी मैन्युफैक्चरिंग उपस्थिति बढ़ाने के लिए मध्यम अवधि में 20,000 करोड़ रुपये का निवेश करेगी। कंपनी के चेयरमैन संजीव पुरी ने वार्षिक आम बैठक में यह जानकारी दी।
संजीव पुरी ने कहा- भारतीय अर्थव्यवस्था की संभावनाओं से उत्साहित होकर हमने हाल के दिनों में करीब 4,500 करोड़ रुपये के व्यय के साथ आठ विश्व स्तरीय मैन्युफैक्चरिंग फैसलिटीज में निवेश किया है। पुरी ने बिना कोई विस्तृत जानकारी दिए कहा कि आईटीसी की योजना मध्यम अवधि में विभिन्न व्यवसायों में 20,000 करोड़ रुपये निवेश करने की है। बता दें कि उन्होंने 2024 की वार्षिक आम बैठक (एजीएम) के भाषण में इस निवेश योजना की घोषणा की थी। यह निवेश दैनिक उपभोग की वस्तुओं के जुड़े क्षेत्र, पैकेजिंग और अन्य क्षेत्रों में हो सकता है। पुरी ने कहा कि कंपनी अपनी भारत पहले रणनीति को प्राथमिकता देगी। विदेशों में महत्वपूर्ण प्रभाव डालने से पहले घरेलू उपस्थिति को मजबूत करने पर ध्यान केंद्रित करेगी।
आईटीसी के ग्लोबल आउटलुक पर पुरी ने दोहराया कि उसकी वैश्विक महत्वाकांक्षाएं एक मजबूत घरेलू आधार पर टिकी हैं। उन्होंने कहा कि हमारा दृढ़ विश्वास है कि भारतीय ब्रांडों को वैश्विक मंच पर अपनी जगह बनानी चाहिए और इसके लिए, विदेशों में प्रभाव डालने से पहले, भारत में एक स्थायी विरासत स्थापित करनी चाहिए।
संजीव पुरी ने वार्षिक आम बैठक में आईटीसी इन्फोटेक को एक अलग सूचीबद्ध इकाई के रूप में अलग करने की संभावना पर पूछे गए प्रश्न पर कहा-हम कारोबारी रणनीति, प्रतिस्पर्धी संदर्भ, व्यवसाय की परिपक्वता पर विचार करते हैं। फायदे और नुकसान का आकलन करते हैं। इसके बाद जो भी सही होगा, हम उस पर काम करेंगे। उन्होंने कहा कि आईटीसी का स्ट्रक्चर उसके रणनीतिक उद्देश्यों के हिसाब से है और आईटीसी होटल्स के विभाजन जैसे फैसले व्यापक समीक्षा के बाद लिए जाते हैं। पुरी ने कहा-जैसे हमने होटल के मामले में किया, वैसे ही जो भी सही होगा, सही समय पर किया जाएगा। कोई भी बात पक्की नहीं होती।