
भारत में दाल तीसरा सबसे ज्याद खाए जाने वाला खाद्य पदार्थ है। दाल खाने में जितनी टेस्ट होती है, उतने ही इससे सेहत को फायदे होते हैं। दालों में प्रोटीन, फाइबर, विटामिन, मिनरलस और अन्य पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो शरीर के बेहतर कामकाज के लिए जरूरी हैं। दाल विभिन्न तरह की होती हैं और सबके अलग-अलग फायदे होते हैं। मगर क्या आप जानते हैं कि पहले के जमाने में पंचमेल दाल (Panchmel dal) बनाई जाती थी। यह पांच तरह की दालों का मिश्रण होता है जिसमें मूंग दाल, चना दाल, उड़द दाल, मसूर दाल, और तुअर दाल शामिल होती हैं। पंचमेल का मतलब पांच रत्न होता है, जो इसकी पोषण क्षमता और अनोखे स्वाद का प्रतीक है।
पंचमेल दाल मुगलों के बीच एक प्रसिद्ध दाल थी, जिसे बड़े उत्साह के साथ पकाया और परोसा जाता था। ऐसा माना जाता है कि पंचमेल दाल जोधा बाई की पसंदीदा थी, क्योंकि वह शाकाहारी थीं और यह दाल मुगल रसोई में आसानी से मिल जाती थी। पंचमेल दाल प्लांट बेस्ड प्रोटीन का एक बढ़िया सोर्स है। यह वेजिटेरियन लोगों के लिए बेहद लाभकारी है, क्योंकि इसमें कई दालों के मिश्रण से जरूरी अमीनो एसिड मिलते हैं जो मसल्स टिश्यू को बढ़ाने और रिपेयर करने में मदद करते हैं।
यह दाल फाइबर का अच्छा स्रोत है, जो पाचन तंत्र को मजबूत करने में सहायक है। यह कब्ज को रोकने, पाचन सुधारने और आंतों की सेहत के लिए फायदेमंद है। पंचमेल दाल में फैट और कैलोरी कम होती है, जिस वजह से यह वजन घटाने वालों के लिए बेस्ट ऑप्शन है। यह आयरन का अच्छा स्रोत है जो एनीमिया से बचाने और खून में हीमोग्लोबिन की मात्रा बढ़ाने में मदद करती है। इसमें कैल्शियम और फॉस्फोरस होते हैं, जो हड्डियों और दांतों को मजबूत बनाते हैं। पोटेशियम दिल को स्वस्थ रखता है, बी विटामिन शरीर को ताकत देता है, इसके एंटीऑक्सिडेंट्स गुण इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाते हैं।
इस दाल का ग्लाइसेमिक इंडेक्स (GI) बहुत कम है जिस वजह से यह डायबिटीज रोगियों के लिए बेस्ट है और ब्लड शुगर को कंट्रोल करती है। इसके अलावा पंचमेल दाल में खराब कोलेस्ट्रॉल कम करने वाले तत्व होते हैं। यह दाल शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने और लिवर और किडनी के कार्यों को बेहतर करने में सहायक होती है। दिल को स्वस्थ रखती है और शरीर को लंबे समय तक ऊर्जा देती है।